– रिस्पांस टाइम में पूरे देश में उत्तर प्रदेश की एंबुलेंस सेवा पहले पायदान पर
– रोजाना औसतन 16 हजार से अधिक गंभीर मरीजों को मिल रहा सेवा का लाभ
– प्रदेश भर में एंबुलेंस सेवा 108 की संचालित हो रहीं 2200 एंबुलेंस
– रिस्पांस टाइम में दूसरे स्थान पर राजस्थान तो तीसरे पायदान पर है केरल
– पूरे देश में झारखंड का है सबसे खराब रिस्पांस टाइम 16:02 मि.
लखनऊ, 26 जुलाई: हेल्थ एक्सपर्ट का मानना है कि यदि आपातकाल में मरीज को सही समय में हेल्थ केयर
की सुविधा मिल जाए तो ऐसे लाखों मरीजों की जान बचायी जा सकती है। प्रदेश की योगी सरकार ने इस
समस्या पर ध्यान केंद्रित करते हुए अपनी एंबुलेंस सेवा 108 (इमरजेंसी मेडिकल ट्रांसपोर्ट सर्विसेज) के रिस्पांस
टाइम को रिकार्ड स्तर पर सुधारा है। वर्ष 2016-17 में जहां प्रदेश में एंबुलेंस सेवा 108 का रिस्पांस टाइम
16:52 मिनट था। वहीं वर्तमान में बड़े सुधार के साथ अब यह मात्र 7:30 मिनट रह गया है। इस रिस्पांस
टाइम के मामले में उत्तर प्रदेश पिछले कई वर्षों से देश भर में टॉप पर है।
रोजाना औसतन 16 हजार से अधिक मरीजों को प्रदान की जा रही सहायता
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की मिशन निदेशक डॉ. पिंकी जोवल ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सूबे
की कमान संभालते ही लचर स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ करने के लिए बड़े कदम उठाने शुरू किये। इसी के तहत
एंबुलेंस सेवा 108 के रिस्पांस टाइम को कम करने के लिए विभिन्न पहलुओं को काम शुरू किया गया ताकि
गंभीर मरीजों को समय से अस्पताल पहुंचाया जा सके और उसकी जान बचायी जा सके। उनकी दूरदर्शी सोच
और लगातार मॉनीटरिंग का ही असर है कि वर्तमान में एंबुलेंस सेवा 108 का रिस्पांस टाइम मात्र 7:30 मिनट
है जबकि वर्ष 2016-17 में रिस्पांस टाइम 16:52 मिनट था। ऐसा नहीं है कि यह रिस्पांस टाइम एकाएक कम
हो गया बल्कि सीएम योगी के विगत सात वर्षों में लगातार किये गये प्रयासों और पहलों से इसे क्रियान्वित
किया गया। सीएम योगी ने इसके लिए 2019 में खटारा हो चुकी 662 एंबुलेंस को हटाकर नई स्वास्थ्य
तकनीक से लैस एंबुलेंस की खरीद की। इसके अलावा सेवा को बेहतर करने के लिए 712 अतिरिक्त एंबुलेंस को
जोड़ा गया। वर्तमान में प्रदेश में कुल 2200 एंबुलेंस सेवा 108 संचालित हैं। इसके जरिये प्रदेश में औसतन
रोजाना 16,703 मरीजों को सहायता प्रदान की जा रही है।
पूरे देश में झारखंड का सबसे खराब रिस्पांस टाइम
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के जीएम पराग पांडेय ने कहा, सीएम योगी के प्रयासों का ही नतीजा है कि साल दर
साल एंबुलेंस सेवा का रिस्पांस टाइम कम होता गया। उन्होंने बताया कि एंबुलेंस सेवा 108 का रिस्पांस टाइम
वर्ष 2017-18 में 13:23 मि. और वर्ष 2018-19 में 14:46 मि. दर्ज किया गया। वहीं वर्ष 2019-20 में 17:28 मि.
और 2020-21 में 18:07 मिनट रिस्पांस टाइम दर्ज किया। यह रिस्पांस टाइम वैश्विक कोरोना बीमारी की वजह
से बढ़ाया गया था। इसके बाद वर्ष 2022-23 में 8:46 मिनट और वर्ष 2023-24 में 7:24 मिनट दर्ज किया गया
है। वहीं वर्तमान में रिस्पांस टाइम 7:30 मिनट है। सबसे बड़ी बात यह है कि पूरे देश में एंबुलेंस सेवा का सबसे
कम रिस्पांस टाइम उत्तर प्रदेश का ही है, जबकि उत्तर प्रदेश देश भर में सबसे अधिक 25.74 करोड़ जनसंख्या
वाला राज्य है। उत्तर प्रदेश एंबुलेंस सेवा के रिस्पांस टाइम 7:30 मिनट के साथ देशभर में पहले स्थान पर है।
वहीं दूसरे स्थान पर 7:57 मिनट के साथ राजस्थान, तीसरे स्थान पर 10:45 मिनट के साथ केरल है। वहीं सबसे
खराब रिस्पांस टाइम 16:02 मिनट झारखंड का है। इसके बाद अरुणाचल प्रदेश का रिस्पांस टाइम 15:01 मिनट
और दिल्ली का 13:31 मिनट है।